शिमला: मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि पंजाब में पीएम की सुरक्षा से समझौता कोई संयोग नहीं था। बल्कि सोची समझी साजिश थी। यह एक स्पॉन्सर घटना थी। जिसका खुलासा सबके सामने आ गया है। यहां पर बात सामने आ गई है कि प्रधानमंत्री की सुरक्षा में चूक बहुत बड़ी लापरवाही और मिलीभगत के कारण हुआ है। सीएम जयराम ने शिमला में प्रेस कॉन्फ्रेंस कहा कि केंद्रीय एजेंसियों की तरफ से प्रधानमंत्री की रूट को लेकर पहले से संदेह जताया गया था, लेकिन पंजाब सरकार ने कोई कदम नहीं उठाए। जयराम ठाकुर ने कहा जब प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री का रास्ता रोका हुआ था। तो प्रदर्शनकारी चाय पी रहे हैं और पुलिस वालों को भी चाय दे रहे थे।
जयराम ठाकुर ने कहा कि सीआईडी की तरफ से 2 जनवरी से ही प्रदेश सरकार को कई बार बताया जा चुका था. डीएसपी पंजाब सरकार को कई बार अलर्ट किए गए थे, लेकिन पंजाब सरकार की तरफ से कोई भी अपेक्षाकृत कदम नहीं उठाया। जयराम ठाकुर ने कहा कि पंजाब सरकार को यह भी सूचना थी कि खालीस्तानी गुट भी उन दिनों सक्रिय था. मुख्यमंत्री ने कहा कि 5 जनवरी को पंजाब में प्रधानमंत्री के आने का शेड्यूल निश्चित था। उस दिन पंजाब राज्य के लिए 46 हजार करोड़ के उद्घाटन और शिलान्यास होने से पंजाब के लिए बेहद महत्वपूर्ण था, लेकिन भारत के इतिहास में पहली बार अप्रिय घटना घटित हुई। सीएम ने कहा कि प्रधानमंत्री की सुरक्षा को लेकर पूरी जिम्मेदारी राज्य सरकार की होती है. प्रधानमंत्री की किसी भी राज्य की यात्रा के दौरान कार्यक्रम स्थल यात्रा के दौरान जब तक प्रधानमंत्री वापस रवाना नहीं होते, तब तक पूरी जिम्मेदारी सरकार की होती है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की यात्रा का पूरा कार्यक्रम प्रदेश सरकार को भेजा था। उसी अनुसार प्रधानमंत्री कार्यक्रम स्थल के लिए रवाना हुए हुए थे, लेकिन रोड पर बहुत बड़ी कमी प्रदेश सरकार द्वारा देखी गई।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के कार्य को रोकने वाले लोगों में कुछ अपराधिक श्रेणी वाले लोग भी शामिल थे। सीएम ने कहा के पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी को जब फोन कर करने की कोशिश की गई तो उन्होंने फोन उठाना उचित नहीं समझा। जिस फ्लाईओवर पर प्रधानमंत्री का काफिला रोका गया था, उसके नीचे शराब की दुकानें खुली थी. फ्लाईओवर पर 20 मिनट तक काफिला रूका रहा। उन्होंने कहा कि वहां से पाकिस्तान बॉर्डर केवल 10 किलोमीटर की दूरी पर था। प्रधानमंत्री के दौरे के दौरान मुख्यमंत्री डीजीपी और मुख्य सचिव से कोई भी प्रधानमंत्री के काफिले के साथ मौजूद था।
जयराम ठाकुर ने पंजाब के सीएम चन्नी पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने पहले कहा वह कोरोना संक्रमित के संपर्क में आए थे, लेकिन बाद में बिना मास्क के पत्रकार वार्ता को संबोधित कर रहे थे। जयराम ठाकुर ने इस मामले में दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की। सीएम ने कहा कि नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री तो हैं ही साथ ही विश्व के सबसे लोकप्रिय और मजबूत नेता हैं ऐसे में उनकी सुरक्षा को लेकर पंजाब के कांग्रेस सरकार का जो रवैया रहा, वहां बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है।
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