पुलिस के डर से ठगी का पैसा सैकड़ों खातों में ट्रांसफर, क्रिप्टो करंसी पर भी लगाया, छानबीन में सामने आया सच्च
शिमला : साइबर क्राइम करने वाले शातिर पुलिस से बचने के लिए नए नए हथकंडे अपना रहे हैं। छानबीन में सामने आया सच्च, प्रदेश में बढ़े साइबर क्राइम के केस
कई सोशल मीडिया प्लेटफार्म और डिजिटली हाउस अरेस्ट करके करोड़ों की ठगी को अंजाम देने वाले शातिर जालसाज पुलिस से बचने के लिए हर तरह के हथकंड़े अपना रहे हैं। साइबर पुलिस से बचने के लिए जालसाजों ने ठगी से लूटे करोड़ों रुपए आगे सैंकड़ों खातों में ट्रासफर कर दिए हैं। हिमाचल प्रदेश में अब तक इस तरह की ठगी के दर्जनों मामले सामने आ चुके हैं। इससे पहले कि साइबर पुलिस इन जालसाजों तक पहुंचे ठगी का पैसा आगे से आगे सैकड़ों खातों में भेज दिया जा रहा है। साइबर पुलिस थानों में दर्ज विभिन्न ऐसे मामलों में साइबर पुलिस की जांच में अब यह बात सामने आई है। यही नहीं, ठगी का यह पैसा सीज होने से बचाने के लिए विभिन्न प्रकार की डिजिटल करंसी क्रिप्टो जैसे प्लेटफार्म में भी इन्वेस्ट किया जा रहा है, जहां तक साइबर पुलिस की पहुंच बहुत ही मुशिकल है।
मंडी में पिछले कुछ महीनों में दर्ज हुए साइबर ठगी के मामलों में जांच करते हुए साइबर पुलिस के सामने यह बात सामने आई है। पुलिस ने विभिन्न मामलों में ठगी के पैसे को सीज करने के लिए बैंकों से पत्राचार किया है, लेकिन इससे पहले ही बैंकों द्वारा इन खातों को सीज किया जाता है। यही नहीं, खाते किसी एक राज्य के नहीं बल्कि दिल्ली से लेकर गुजरात और दक्षिण भारत तक के राज्यों के हैं। साइबर पुलिस ने जालसाजों के इन खातों का भी लगाने में जुटी हुई है
आईबी अधिकारी से ठगी में 12 खाते सीज
हाल में ही मंडी जिला के एक सेवानिवृत्त आईबी अधिकारी से हुई एक करोड़ रुपए की ठगी के मामले में साइबर पुलिस ने एक दर्जन से अधिक खातों को सीज किया है।